वास्तु दोष निवारण के लिए भारतीय वास्तुपूजा सर्वोत्तम क्योंकि-पूर्ण वास्तुदोष मुक्त भवन असंभव है
Vastu Articles I Posted on 02-01-2025 ,06:00:36 I by:
मुंबई. वास्तुदोष आज की बड़ी समस्या बनती जा रही है, जिसको लेकर कई व्यक्ति अकारण तनाव में रहते हैं.
आज के समय में पूर्ण वास्तुदोष मुक्त भवन असंभव है क्योंकि वास्तु के अनुसार किसी भी भवन में अतिपवित्र मंदिर और नकारात्मक प्रभाववाला टॉयलेट नहीं होना चाहिए.
मंदिर इसलिए नहीं होना चाहिए कि सांसारिक जीवन में इसकी पवित्रता बनाए रखना संभव नहीं है, तो नकारात्मक ऊर्जावाला टॉयलेट वास्तुदोष का प्रमुख कारण बनता है, लेकिन... आज के समय में यह जरूरी हैं.
आजकल ज्यादातर व्यक्ति बने बनाए भवन फ्लैट आदि खरीदते हैं, जिनमें भवन के अंदर का वास्तु तो सही करने का प्रयास किया जाता है, लेकिन आसपास का वास्तुदोष दूर करना संभव नहीं होता है.
ऐसे भवनों के निर्माण से पूर्व भूमिशुद्धि, भूमिपूजन आदि को लेकर भी संशय बना रहता है.
इनके अलावा वास्तुदोष उत्पन्न करनेवाले आसपास के पेड़, ऊंची इमारतें, गंदे नाले आदि को भी हटाना संभव नहीं होता है.
ऐसे में वास्तुदोष निवारण के लिए क्या किया जाए
वास्तुदोष निवारण के अनेक उपाय हैं... कई बार बड़ा वास्तुदोष होने पर भवन में तोडफ़ोड़ की जाती है, तो अक्सर वास्तुदोष निवारण की वस्तुएं उपयोग में ली जाती हैं, लेकिन... इनसे संपूर्ण वास्तुदोष से मुक्ति संभव नहीं हो पाती है, क्योंकि आधुनिक सुख-सुविधा के साधन कहां होने चाहिएं? इसको लेकर मतैक्य नहीं है.
फ्रिज कहां रखा जाए फ्रिज को ठंडा रखने के कारण चन्द्र का कारक माना जाए कि... बिजली से चलने के कारण मंगल का या फिर इसे खाद्य सामग्री रखनेवाली कोठी समझा जाए कि- ऊर्जा उगलनेवाली भट्टी समझा जाए जाहिर है, तर्क करनेवाले इनके अनेक जवाब दे सकते हैं लेकिन इनका कोई आधार नहीं है
भारत में प्राचीनकाल से ही वास्तुदोष निवारण के लिए पूजा को विशेष महत्व दिया गया है... यहां भवन निर्माण से पूर्व भूमि परीक्षण, भूमिशुद्धि, भूमिपूजन, वास्तुपूजा आदि किया जाता रहा है इसलिए प्राचीनकाल के ज्यादातर भवन वास्तुदोष से मुक्त होते थे... वर्तमान समय में यह सब संभव नहीं है, इसलिए वास्तुदोष निवारण के लिए पूजा, हवन आदि का महत्व बढ़ गया है
वास्तुदोष निवारण के लिए यदि प्रतिवर्ष सुंदरकांड का आयोजन करें तो उत्तम होगा... नियमितरूप से गायत्री यज्ञ भी श्रेष्ठ है
सृष्टि की समस्त दिशाओं के स्वामी प्रथमपूज्य अष्टविनायक श्रीगणेश की वास्तुदोष निवारक शुभदृष्टि सर्वोत्तम मानी जाती है, तो माता नवदुर्गा का नकारात्मक प्रभाव से सुरक्षा प्रदान करनेवाला आशीर्वाद सर्वश्रेष्ठ है
-प्रदीप लक्ष्मीनारायण द्विवेदी, बॉलीवुड एस्ट्रो एडवाइजर (व्हाट्सएप- 8875863494)