शनि और गुरू के बाद अब यह ग्रह होने जा रहा है वRी, होगी धन सम्बन्धी हानि
Astrology Articles I Posted on 08-09-2022 ,08:16:02 I by:
ज्योतिष शास्त्र में जब कोई ग्रह अपनी चाल बदलता है, राशि परिवर्तन करता है, तो इसे महत्वपूर्ण माना जाता है। बड़े और महत्वपूर्ण ग्रह वक्री होते हैं तो इसका प्रभाव देश दुनिया के साथ मनुष्यों पर भी पड़ता है। वर्तमान में पंचांग की गणना के अनुसार पहले से ही दो बड़े ग्रह शनि और गुरू वक्री अवस्था में हैं। विशेष बात यह है दोनों ही ग्रह अपनी ही राशि में वक्री हैं। शनि को मकर राशि और गुरू को मीन राशि का स्वामी माना गया है।
शनि और गुरू के बाद अब बुध ग्रह वक्री होने की तैयारी में है। पंचांग के अनुसार 10 सितंबर 2022, शनिवार को प्रात: 8 बजकर 42 मिनट पर कन्या राशि में बुध ग्रह वक्री होगा और इसके बाद 2 अक्टूबर 2022 को बुध कन्या राशि में ही मार्गी होगा। तीन ग्रहों का एक साथ वक्री होना ज्योतिष ग्रंथों में महत्वपूर्ण माना गया है। शनि, गुरू और बुध का वक्री होना शुभ नहीं माना गया है। मान्यता है कि जब यह ग्रह एक साथ वक्री होते हैं तो परेशानियां बढ़ती हैं और धन संबंधी मामलों में हानि की स्थिति बनती है। इन ग्रहों के एक साथ वक्री अवस्था में होने से समस्त 12 राशियाँ प्रभावित होंगी, लेकिन इन 12 राशियों में से कुछ ऐसी राशियाँ हैं जिन पर इन ग्रहों के वक्री होने का सर्वाधिक प्रभाव पड़ेगा।
आइए डालते हैं एक नजर उन राशियों पर...
मेष राशि
इस राशि वालों को अपने स्वभाव पर ध्यान देना होगा। अधिक क्रोध काम बिगाड़ सकता है। अनावश्यक विवादों में पड़ सकते हैं। चोट लगने का भी भय बना रहेगा।
कन्या राशि
बुध ग्रह आपकी राशि में ही वक्री हो रहे हैं। इसलिए आपको विशेष सावधानी बरतने की आवश्यकता है। धन से जुड़े मामलों में सोच समझ कर फैसले लें। धन का व्यय और हानि दोनों की संभावना बनी हुई है। त्वचा संबंधी रोग परेशान कर सकते हैं। स्वच्छता पर ध्यान दें, अधिक सोचने से बचें।
मकर राशि
शनि आपकी राशि के स्वामी हैं और आपकी ही राशि में शनि वक्री हैं। शनि इस दौरान गलत निर्णय ले सकते हैं, इसलिए बिना विचार के कोई कदम न उठाएं। दूसरों की सलाह की भी पड़ताल कर लें। शत्रु इस दौरान हानि पहुँचाने की कोशिश कर सकते हैं।
मीन राशि
मीन राशि में गुरू वक्री हैं। आय में वृद्धि करने की सोच रहे हैं तो कुछ दिनों तक और धैर्य बनाए रखना होगा। इस दौरान बड़ा निवेश सोच समझ करें। वरिष्ठ पदों पर बैठे लोगों से सम्बन्ध प्रभावित हो सकते हैं। पेट सम्बन्धी रोग परेशान कर सकते हैं।