तन-मन को प्रसन्न रखने के लिए चंद्र देव को रिझाएं, कृपा मिली तो हो जाएंगे निहाल
Astrology Articles I Posted on 25-06-2017 ,12:35:27 I by: Amrit Varsha
चंद्रमा को सुधाकर, सोम, कुमुदप्रिय, कलानिधि के नाम से भी जाना जाता हैं। सत्व गुण प्रधान व मन का स्वामी, या कारक चंद्रमा की भूमिका व्यक्ति के जीवन अहम भूमिका निभाती हैं। जातक के जन्म से ही उसकी जन्म कुंण्डली में कालपुरूष के स्थान निर्धारित हो जाते हैं। आत्मा रवि:शीतकरस्तु चेत: सूर्य आत्मा का व चंन्द्र मन का कारक कहा गया हैं।
अक्सर देखा गया है की ऐसे व्यक्तियो की चंचलता कभी-कभी आनन्द प्रिय तो कभी अप्रिय लगने लगती हैं। इसका वास्तविक कारण ही चंद्र से ही होता हैं। ऐसे में इनके लिए ये बेहद जरूरी होता है की ऑफिस,परिवार,आस-पड़ोस आदि कई व्यक्तियों से थोडा संभलकर बात करे। इनकी बातें कभी कभी अखर ही जाती हैं क्योंकि ये बातों-बातो में ही बहुत कुछ खरा-खोटा कह देते हैं।
चंद्र देव को रिझाने के लिए कुछ उपाय बताए गए हैं उन्हें अपनाने से न केवल चंद्र देव प्रसन्न होते हैं बल्कि आपको आशीर्वाद भी देते हैं।
चंद्र की पहचान
ज्योतिष की द्रष्टि से कुण्डली में शुभ ग्रहो से युक्त चंद्र(बुध,गुरू,शुक्र), स्वयंकेघर (कर्क राशि) में, उच्च(वृषभ राशि ) में व 3 अंश, आदि में जातक को चंचल प्रवर्ति का बनाता हैं। लेकिन कुण्डली में विभिन्न राशियों का चन्द्र अपना प्रभाव भी भिन्न ही देता हैं। इतना ही नही यदि आत्मा व मन के कारक सूर्य व चन्द्र दोनो ही बली(बल से युक्त) हो तो उन्हे नेतृत्व शक्ति का कार्य भी सोपा जाता हैं चाहे जातक किसी भी क्षेत्र से अपनी पहचान रखता हो मगर चन्द्र के शुभ प्रभावों से वह सफलता हासिल कर ही लेता हैं।
अशुभ चन्द्र के प्रति हो नत मस्तक
अशुभ चंद्र व्यक्ति के जीवन में आन्नद की अनुभूती में कमी लाता हैं। वहीं द्विसभाव राशि के साथ चंन्द्र का होना भी कुछ अशुभ हैं क्योंकि व्यक्ति निर्णय लेने के बाद भी उसे बदलने की सोचता रहता हैं। लेकिन मिले हुए कार्य को शिध्रता के साथ पूर्ण कर ही लेते हैं। अशुभ चंद्र क्रोध को आंमत्रण तो देता ही पर पानी से संबंधी रोग भी पेदा करता हैं।
ये करें उपायचंद्र के कुप्रभावों से बचने के लिए ये उपाय करें
1 मोती धारण करे, चांदी की धातु में 2 या 4 रत्ती का।
2 पुरूष पहनने में सफेद कपडो का प्रयोग करे।
3 महिलाएं सफेद रूमाल रखें।
4 यथा शक्ति चावल, चीनी, दही, श्वेतवस्त्र, श्वेतपुष्प, मोती, कपूर का दान करें।
5 प्रति दिन भगवान शिव पर दूध चढाऐ।
6 चंन्द्र के मंत्रों का जाप करे।
चन्द्र की दशा में प्राप्ति सर्वसुलभ दशाचान्द्री भूयात्कलयति विभूतिअंजनिवतां चन्द्र की दशा में शुभ चंन्द्र ऐश्वर्य, वस्त्र, धन में वृद्धि कराता हैं। शादी, होना आभूषण खरीदना धार्मिक कार्यो में रूचि उत्साह, हास्य विनोद, व सहज ही आनन्द की प्राप्ति करवाता हैं लेकिन अशुभ चन्द्र इन सभी के कही कही विपरीत भी देखा जा सकता हैं। चन्द्र की दशा के दोरान अशुभ चंन्द्र को शुभ करके उसके अशुभ प्रभावों से बचा जा सकता हैं।
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